आखिर क्यों जमशेदपुर को कहा जाता है टाटानगर? रतन टाटा का था भावनात्मक रास्ता
Date: Oct 11, 2024
By: Ankita Srivastava, Bharatraftar
रतन टाटा का निधन
लंबे समय से बीमार चल रहे रतन टाटा ने बुधवार को मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में अंतिम सांस ली, भारत ने एक अनमोल रतन खोया है
आखिर कौन थे रतन टाटा
रतन नवल टाटा, भारत के सबसे लोकप्रिय बिजनेस व्यक्तियों में से एक थे, रतन टाटा ने 1990 से 2012 तक टाटा संस के अध्यक्ष रहे, इसके बाद 2016-2017 में अंतरिम पद पर रहे
अर्थव्यवस्था में योगदान
भारतीय उद्योग जगत के महान नायक रतन टाटा का अर्थव्यवस्था, व्यापार और उद्योग में बहुत बड़ा योगदान रहा है
रतन टाटा का जमशेदपुर से संबंध
झारखंड की औद्योगिक राजधानी जमशेदपुर से रतन टाटा का भावनात्मक और व्यापारिक संबंध रहा है
एयर इंडिया का अधिग्रहण
कुछ साल पहले ही कर्ज में डूबे भारत सरकार के एयलाइंस एयर इंडिया के लिए रतन टाटा के स्वामित्व वाली टाटा संस ने बोली लगाई थी और 68 साल बाद फिर से एयर इंडिया टाटा के हवाले हो गया था.
क्यों कहते हैं जमशेदपुर को टाटानगर
क्या आप जानते हैं कि जमशेदपुर को टाटानगर कहा जाता है, रतन टाटा के पूर्वजो की वजह से जमशेदपुर को टाटानगर कहते हैं
इंस्टाग्राम पर पोस्ट
जुलाई 2022 में रतन टाटा ने अपने इंस्टा हैंडल से एक फोटो शेयर की थी, जिसमें उन्होंने जमशेदपुर की अपनी पहली यात्रा के बारे में बताया था, उन्होंने पहली बार स्टील सिटी का भ्रमण किया था
रतन टाटा ने कैप्शन में लिखा
मुझे याद है जब मैं पहली बार जमशेदपुर गया था, तब मेरे कॉलेज की छुट्टी थी. मिस्टर आरजी दा कोस्टा और जेडी चोकशी ने मुझे टेल्को प्लांट का दौरा करने और प्लांट के चारों ओर घूमने के लिए आमंत्रित किया था. यह टाटा स्टील कंपनी में काम शुरू करने से बहुत पहले की बात है.
1907 में हुई टाटानगर की स्थापना
जमशेदजी टाटा ने टाटानगर की स्थापना की थी और उनके सपने को साकार करते हुए उनके बड़े बेटे सर दोराबजी टाटा ने पहले टाटा आयरन एंड स्टील कंपनी की स्थापना की थी.
1919 में पड़ा नाम
भारत के गवर्नर जनरल वायरसराय लॉर्ड चेम्सफोर्ड ने जमशेदजी नौसेरवा ने टाटा के नाम पर जमशेदपुर और कालीमाटी स्टेशन का नाम टाटानगर रख दिया
Next: बरगद की जड़ से जुड़ा ये राज, देखते ही देखते कंगाल से हो जाएंगे मालामाल