इलेक्शन के बीच बिटकॉइन मामले से परेशान सुप्रिया सुले ने दर्ज कराई शिकायत, क्या है खलबली मचाने वाला क्रिप्टोकरेंसी कांड!
पूर्व आईपीएस ऑफिसर रवींद्रनाथ पाटिल ने आरोप लगाया कि सुप्रिया और पटोले ने साल 2018 के क्रिप्टोकरेंसी धोखाधड़ी मामले से बिटकॉइन का मिस यूज किया था और इसका इस्तेमाल महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों के लिए किया था।
महाराष्ट्र में वोटिंग से पहले बिटकॉइन घोटाले की खूब चर्चा रही। रेड की खबरें भी सामने आईं। भाजपा द्वारा राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी की नेता और बारामती से सांसद सुप्रिया सुले और कांग्रेस नेता नाना पटोले पर बिटकॉइन घोटाला करने के आरोप लगाए हैं। इस मामले के कई स्क्रीनशॉट और ऑडियो क्लिप भी वायरल हुईं। लेकिन आखिर ये मसला है क्या, कैसे इसकी शुरुआत हुई और क्या वोटिंग से इसका कोई लेना-देना है, चलिए समझते हैं...
आरोप लगाने वाला पूर्व IPS अधिकारी कौन है?
सबसे पहले तो ये जान लीजिए कि पूर्व आईपीएस ऑफिसर रवींद्रनाथ पाटिल साल 2004 बैच के पूर्व IPS अधिकारी हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 2010 में उन्होंने IPS से इस्तीफा दे दिया साइबर विशेषज्ञ के तौर पर काम करने लगे। साल 2018 के बिटकॉइन धोखाधड़ी मामले की जांच में उन्हें फोरेंसिक ऑडिट का जिम्मा मिला था। हालांकि, इसी मामले में 2022 में 5 करोड़ रुपये की बिटकॉइन की हेराफेरी मामले में वो खुद गिरफ्तार हो गए। वो करीब 14 महीने जेल में भी रहे। फिलहाल वो बॉम्बे हाई कोर्ट में वकालत कर रहे हैं।
क्या लगाया है आरोप
पूर्व आईपीएस ऑफिसर रवींद्रनाथ पाटिल ने आरोप लगाया कि सुप्रिया और पटोले ने साल 2018 के क्रिप्टोकरेंसी धोखाधड़ी मामले से बिटकॉइन का मिस यूज किया था और इसका इस्तेमाल महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों के लिए किया था। जानकारी के मुताबिक, उन्होंने आरोप में ये भी कहा कि पुणे के तत्कालीन पुलिस आयुक्त अमिताभ गुप्ता और साइबर अपराध जांच का जिम्मा संभाल रही तत्कालीन पुलिस उपायुक्त भाग्यश्री नौटके भी इसमें शामिल थे।
कई ऑडियो क्लिप आए सामने
पूर्व आईपीएस ऑफिसर रवींद्रनाथ पाटिल ने आरोप के बाद भाजपा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की, जिसमें प्रवक्ता सुधांशु त्रिवेदी ने एक डीलर, अमिताभ गुप्ता, सुप्रिया और पटोले की बातचीत के कथित ऑडियो साझा किए। प्रवक्ता सुधांशु त्रिवेदी ने व्हाट्सएप चैट के स्क्रीनशॉट भी शेयर किए, जिसमें सुप्रिया और पटोले पर बिटकॉइन के जरिए 235 करोड़ रुपये की हेराफेरी का आरोप लगाया। हालांकि, सुप्रिया ने पूर्व IAS के आरोपों को निराधार बताया है।
ऑडियो क्लिप पर उठ रहे हैं सवाल!
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सारथी एसोसिएट्स ऑडिट फर्म के कर्मचारी गौरव मेहता पुलिस आयुक्त गुप्ता से कहते हैं, "हमने पाटिल और घोडे (पाटिल के सहयोगी) के नाम से 4 क्रिप्टो वॉलेट बनाए थे। इन वॉलेट से लेन-देन हुए थे। अगर कोई जांच होती है तो इसमें वही 2 लोग फंसेंगे। कोई भी हम तक नहीं पहुंच सकता।" इसके बाद दूसरे ऑडियों में गौरव को भेजे गए सुप्रिया के 3 वॉइस नोट हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के हवाले से मिली जानकारी की माने, तो ऑडियो में सुप्रिया कहती हैं कि "गौरव आप जवाब क्यों नहीं दे रहे। हमें नगदी पहले चाहिए। आपका कोई भी आदमी जवाब नहीं दे रहा। गेम मत खेलो। पैसों का क्या हुआ। गुप्ता ने कहा था- सारे पैसे आपके पास हैं। चुनाव चल रहे हैं, हमें पैसों की जरूरत है। क्यों सारे बिटकॉइन नगद में नहीं बदलवा रहे हैं। हमें फंड की जरूरत है। आप जांच की चिंता मत करो। जब हम सत्ता में आएंगे तो संभाल लेंगे।"
इसके बाद तीसरे ऑडियो में पटोले अमिताभ से कह रहे हैं, "अमिताभ, पैसे का क्या हुआ। कल पूछा था न? ऐसी मजा-मस्ती मत करो।" चौथे ऑडियो में गुप्ता की गौरव से हुई बातचीत है। इसमें गुप्ता ने कहा, "गौरव आप मेरे और भाग्यश्री के साथ हुई सारी चैट, बिटकॉइन से जुड़ा डेटा डिलीट करें। अगले हफ्ते 100 करोड़ की जरूरत है। तैयार रखें। विनोद भी आपको 25 करोड़ देगा, कुछ बड़ा होने वाला है। गड़बड़ नहीं होनी चाहिए।"
‘मतदाताओं को गुमराह करने की मंशा’
इस पूरे प्रकरण को लेकर सुप्रिया ने लिखा कि 'मतदान से एक रात पहले मतदाताओं को गुमराह करने के लिए झूठी खबर फैलाने के हथकंडे अपनाए जा रहे हैं। इसके पीछे की मंशा पूरी तरह से साफ है। यह निंदनीय है कि भारत के संविधान के तहत बने लोकतंत्र में ऐसी चीजें हो रही हैं। मैं सुधांशु त्रिवेदी के सभी आरोपों का खंडन करती हूं। मैं किसी भी भाजपा नेता के साथ सार्वजनिक मंच पर बहस के लिए तैयार हूं, समय और तारीख भी वही चुनें।'