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Rajasthan में 23000 खानें हो जाएंगी बंद, 15 लाख लोगों के रोजगार पर है संकट, जानिए क्या है पूरा मामला

राजस्थान सरकार ने नई समिति गठन के लिए केन्द्रीय पर्यावरण मंत्रालय को प्रस्ताव भी भेज दिया है। केंद्र की ओर से अधिसूचना जारी नहीं की गई है, जिससे खान संचालकों के सामने खानें बंद होने का खतरा बढ़ गया है। 

Rajasthan में 23000 खानें हो जाएंगी बंद, 15 लाख लोगों के रोजगार पर है संकट, जानिए क्या है पूरा मामला

राजस्थान में मौजूदा समय में 35 हजार खाने बताई जाती हैं। लेकिन इन खानों में से 23 हजार माइनों में 7 नवंबर को ताला लग सकता है। जिससे 15 लाख लोगों के रोजगार पर संकट की स्थिती आ जाएगी। क्या है पूरा मामला, विस्तार में जानिए....

छिन जाएगा 15 लाख लोगों का रोजगार!

राजस्थान में 35 हजार खानें हैं। प्राप्त जानकारी के मुताबिक, इनमें से करीब 23 हजार खानें तीन दिन बाद बंद हो जाएंगी। जिससे लगभग 15 लाख लोगों के सामने रोजगार संकट पैदा हो जाएगा। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, एनजीटी ने लगभग 23 हजार खानों को 7 नवंबर 2024 तक राज्य स्तरीय पर्यावरण कमेटी से अनापत्ति प्रमाण पत्र (एनओसी) लेने के निर्देश दिए थे, लेकिन खान विभाग 12 हजार खान संचालकों के ही एनओसी के लिए आवेदन कर सका। इनमें से भी लगभग 1 हजार खानों को ही एनओसी जारी हो सके हैं। राज्य स्तरीय पर्यावरण समिति की कार्यकाल भी अक्टूबर में खत्म हो चुका है। इससे एनओसी जारी होने की प्रक्रिया थम गई है।

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NOC 7 नवंबर से आगे बढ़ाने के अब तक कोई निर्देश नहीं

राजस्थान सरकार ने नई समिति गठन के लिए केन्द्रीय पर्यावरण मंत्रालय को प्रस्ताव भी भेज दिया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, केंद्र की ओर से अधिसूचना जारी नहीं की गई है, जिससे खान संचालकों के सामने खानें बंद होने का खतरा बढ़ गया है। इसी के साथ ही एनजीटी ने एमपी और छत्तीसगढ़ राज्यों की सुनवाई के दौरान सोमवार को एनओसी की अंतिम तिथि 7 नवंबर 2024 से आगे बढ़ाने से को लेकर कोई राहत नहीं दी है।

क्या है पूरी बात?

प्राप्त जानकारी के मुताबिक, राजस्थान में माइनर मिनरल की खानों व क्लारी लाइसेंस धारकों को 15 जनवरी 2016 से 11 दिसंबर 2018 तक लगभग 24 हजार एनओसी जारी किए गए थे। सितंबर 2018 में नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने राज्य स्तरीय पर्यावरण कमेटी से एनओसी प्राप्त सभी खानों के लिए राज्य स्तरीय पर्यावरण कमेटी से एनओसी लेने के निर्देश दिए। इसके लिए 7 नंवबर तक की अवधि तय की गई थी।

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मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, एनजीटी के आदेश में सभी खान संचालकों को आवेदन करने के लिए कहा था। लेकिन खान विभाग 24 हजार में से करीब 12 हजार के ही आवेदन करा सका है। इन आवेदकों में से भी करीब 1 हजार खान संचालकों को ही राज्य स्तरीय पर्यावरण कमेटी एनओसी जारी कर सकी है। इस स्थिति में आवेदन नहीं कर सकी 12 हजार खानों के साथ ही 11 हजार जिन्हें आवेदन के बाद भी एनओसी नहीं मिला। इस तरह दोनों को मिलाकर करीब 23 हजार खानों पर तीन दिन बाद 7 नवंबर को ताले लग जाएंगे।